Uncategorizedआप सबकी दहाड़इंडिया की दहाड़ में विज्ञापनकला-संस्कृतिखेलपानीपतहरियाणा

एसडी पीजी कॉलेज, रोटरी पानीपत कॉन्टिनेंटल और रेड क्रॉस सोसाइटी पानीपत के संयुक्त तत्वाधान में हुआ रक्तदान शिविर का आयोजन

एसडी पीजी कॉलेज की एनएसएस एवं एनसीसी इकाई, रोटरी पानीपत कॉन्टिनेंटल और जिला रेड क्रॉस सोसाइटी पानीपत के संयुक्त तत्वाधान में मेगा रक्तदान शिविर का आयोजन कॉलेज प्रांगण में किया गया जिसमे कॉलेज के एनएसएस कार्यकर्ताओं, एनसीसी कैडेट्स, छात्र-छात्राओं एवं स्टाफ सदस्यों ने बढ़-चढ़ कर भाग लिया और 108 यूनिट रक्त का दान दिया| रक्दान शिविर का विधिवत आगाज मुख्य अतिथि श्री गौरव रामकरण सचिव जिला रेड क्रॉस सोसाइटी पानीपत ने किया|

इस पुनीत अवसर पर रोटरी पानीपत कॉन्टिनेंटल के प्रधान श्री मुकेश गुलाटी, सेक्रेटरी हरकँवल अरोड़ा, प्रोजेक्ट चेयरमैन आशीष अनेजा, परवीन अत्रेजा, रेड क्रॉस ब्लड बैंक से डॉ पूजा सिंघल, डॉ सोनू और कल्पना चावला मेडिकल कॉलेज करनाल की टीम मेगा-शिविर में उपस्थित रहे और उन्होनें रक्तदाताओ का हौंसला बढाया| सभी माननीय मेहमानों का स्वागत एसडी पीजी कॉलेज प्रधान पवन गोयल, पूर्व-प्रधान डॉ एसएन गुप्ता और कॉलेज प्राचार्य डॉ अनुपम अरोड़ा ने किया| उनके साथ कॉलेज एनएसएस प्रभारी एवं यूथ रेड क्रॉस क्लब के कॉलेज में नोडल अधिकारी डॉ राकेश गर्ग, डॉ संतोष कुमारी, एनसीसी अधिकारी प्रो बलजिंदर सिंह, डॉ संगीता गुप्ता, डॉ एसके वर्मा, डॉ मुकेश पुनिया भी उपस्थित रहे|

विदित रहे की एसडी पीजी कॉलेज विगत कई वर्षों से रक्तदान शिविरों का नियमित आयोजन करता आ रहा है और इस एकत्रित खून का इस्तेमाल भारतीय सेना, गंभीर रूप से बीमार व्यक्तियों तथा दुर्घटनाओं के शिकार लोगों को बचाने के लिए किया जाता है| मेगा-रक्तदान शिविर में रक्तदान करने वाले छात्र-छात्राओं को रिफ्रेशमेंट और प्रमाण पत्र भी वितरित किये गए|

मुख्य अतिथि श्री गौरव रामकरण सचिव जिला रेड क्रॉस सोसाइटी पानीपत ने रक्तदान को महादान बताते हुए कहा की एक वयस्क पुरुष एवं स्त्री में पांच से छः लीटर तक रक्त होता है और कोई भी व्यक्ति हर तीन माह में एक बार रक्तदान कर सकता है| उन्होनें कहा की 450 मिली रक्त से तीन लोगों का जीवन बचाया जा सकता है|

भारत में प्रत्येक दो सेकंड में किसी न किसी व्यक्ति को रक्त की आवश्यकता होती है परन्तु दुखद पहलु यह है की भारत में रक्तदान योग्य व्यक्तियों में से सिर्फ चार प्रतिशत लोग ही रक्तदान करते हैं| उन्होनें

एसडी पीजी कॉलेज प्रधान श्री पवन गोयल ने रक्तदाताओं की हौंसला अफजाही करते हुए कहा की ब्लड डोनेशन कैंप को आयोजित करने का मूल उद्देश्य आम आदमी में असामान्य दैवीय भावों को उत्पन्न करना है| रक्तदान शिविर के माध्यम से छात्र-छात्राए खुद को देश और समाज से जुड़ा हुआ महसूस करते है| इसके साथ-साथ उनके द्वारा दिया गया रक्त किसी दुर्घटना के शिकार व्यक्ति की जान बचाने में तथा किसी बिमार की मदद में सहायक सिद्ध होता है| मानवता से भरे इस नेक कार्य जैसा अन्य कोई कार्य नहीं है|

डॉ अनुपम अरोड़ा ने रक्तदान के महत्त्व पर बोलते हुए कहा की रक्त हमारे शरीर का सबसे महत्वपूर्ण तत्व है| रक्त का विकल्प केवल और केवल रक्त ही है| बढती दुर्घटनाओं के मद्देनजर आज रक्त की मांग में काफी इजाफा हुआ है| हस्पताल भी रक्त के बगैर कुछ नहीं कर सकते है| रक्तदान करके हम चिकित्सकों के काम में काफी मदद कर सकते है| उन्होनें कहा की रक्तदान के कई फायदे होते हैं| जब आप रक्तदान करते हैं तो आप खुद के शरीर में कैंसर जैसी कई बीमारियों के खतरे को कम कर देते है| रक्तदान से लिवर और पाचन ग्रंथि भी तंदुरस्त रहती है और दिल का स्वास्थ्य काफी अच्छा रहता है|

रक्तदान से लाखों जानें बच सकती हैं और रक्त उपलब्ध रहे तो किसी का भी जीवन बचाया जा सकता है| रक्तदान करने से नयी रक्त कोशिकाओं के उत्पादन में वृद्धि होती है| नियमित रक्तदान करने वाला व्यक्ति आवश्यकता पड़ने पर सहजता से रक्त पा भी सकता है| रक्तदान से रक्त की जांच नियमित होती रहती है तथा हम समाज के प्रति हमारे कर्त्तव्य के प्रति सजग रहते है| रक्तदान के बाद किसी का जीवन बचने से आत्मसंतोष की दैवीय भावना उत्पन्न होती है|

व्यस्क होने से 60 वर्ष की आयु तक व्यक्ति रक्तदान कर सकता है| उन्होनें कहा की रक्तदान के मिथकों और भ्रांतियों को तोड़ कर ही हम रक्तदान करने के भय से मुक्त हो सकते है| इस अवसर पर डॉ संगीता गुप्ता, एनएसएस प्रभारी डॉ राकेश गर्ग, डॉ संतोष कुमारी, एनसीसी अधिकारी डॉ बलजिंदर सिंह, डॉ मुकेश पुनिया, डॉ एसके वर्मा, दीपक मित्तल, शशी मोहन गुप्ता तथा स्टाफ के अन्य सदस्य मौजूद रहे.

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *