विकास शुल्क के नाम पर दिए आदेश को हरियाणा सरकार द्वारा वापस लेना जनता की जीत;-डा सुशील गुप्ता
आम आदमी पार्टी से राज्यसभा सांसद डा सुशील गुप्ता ने हरियाणा सरकार द्वारा हाल ही में नगर निकाय क्षेत्रों में विकास शुल्क बढ़ोत्तरी पर दिए नोटिफ़िकेशन को तुरंत रदद किए जाने को जनता की जीत बताया। उन्होंने कहा हरियाणा की मनोहर लाल खटटर सरकार द्वारा जारी किया गया यह नोटिफिकेशन लोगों के सिर से छत छीनने वाला और जनविरोधी था।
उन्होंने कहा कि नगर निकाय क्षेत्रों में रहे लोगों से सरकार द्वारा विकास शुल्क के नाम भारी भरकम रकम राशि वसुलने का प्रयास किया गया था। लेकिन जनता के दवाब के कारण उसे अपनी गलती का एहसास हुआ और आदेश वापस लेने के लिए मजबूर होना पडा।
उन्होंने कहा कि निर्माण के लिए लोगो को पहले कॉलोनी या क्षेत्र के कलेक्टर रेट की 5 प्रतिशत राशि विकास शुल्क के रूप में देनी होती थी। जिसको नये आदेश में 10 गुना तक अधिक कर दिया था।
मालूम हो कि पहले आवासीय क्षेत्र के लिए 120 रुपये प्रति स्क्वेयर मीटर और कमर्शियल के लिए 1000 रुपये प्रति स्क्वेयर मीटर दरें थी। नये आदेश पर 100 गज के प्लॉट का नक्शा पास कराने के लिए डेढ से 2 लाख रुपये तक जमा कराने पडते। जिस कॉलोनी में प्लाट होगा, उस कॉलोनी या क्षेत्र के कलेक्टर रेट के हिसाब से ही 5 प्रतिशत विकास शुल्क देना होता।
इसी प्रकार, कमर्शियल प्लाट के लिए भी लोगों को कई गुना अधिक राशि देनी होती। सरकार का यह निर्णय सरासर जनविरोधी था।डा गुप्ता ने कहा कि हरियाणा सरकार के शहरी स्थानीय निकाय निदेशालय ने अपने आदेश को अब वापस ले लिया है। जिससे लोगों को अपने उपर पडे आर्थिक बोझ से भी मुक्ति मिली है। उन्होंने हरियाणा सरकार द्वारा वासस लिए गए इस निर्णय को जनता की जीत बताया।